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आखरी दिनां म्ह अधर्म
मै इब के कहूँ सूं, उन बात्तां पै ध्यान दे अन्त के दिनां म्ह कष्ट का बखत भी आवैगा। क्यूँके माणस स्वार्थी, लोभ्भी, डिंगमार, अभिमानी, बुराई करण आळे, माँ-बाप का हुकम टाळण आळे, अहसान-फरमोस, अपवित्र, निर्दयी, माफ ना करण आळे, दोष लाण आळे, असंयमी, कठोर, भले के बैरी, बिश्वासघाती, ढ़ीठ, घमण्डी, अर परमेसवर के न्ही बल्के सुखविलास ए के चाहणआळे होंगे। वे भगति का भेष तो धरैगें, पर वे उस शक्ति नै अपणावै कोनी, जो उननै ईश्वरीय बणा सकै सै, इसा तै परै रहियो। इन्हे म्ह तै वे माणस सै जो घरां म्ह दबे पाँ बड़ जावै सै, अर उन लुगाईयाँ ताहीं बस म्ह कर लेवैं सै, जो पापां तै दबी अर हरेक ढाळ की अभिलाषायां कै बस म्ह हो सै। अर वे हमेशा नई बात सिखदी तो रहवैं सै, पर सच की पिच्छाण तक कदे न्ही पोहोचदी। जिस तरियां यत्रेस अर यम्ब्रेस*यत्रेस अर यम्ब्रेस इनकै बारें म्ह निर्गमन की किताब पढ़े नै मूसा नबी का बिरोध करया था, उस्से तरियां ए ये भी सच का बिरोध करै सै, ये इसे माणस सै, जिनकी बुद्धि भ्रष्ट होगी सै अर वे बिश्वास कै बारै म्ह निकम्मे सै। उनकी कामयाबी थोड़े बखत की थी, क्यूँके जिस तरियां माणसां नै मान लिया के यत्रेस अर यम्ब्रेस बेकूफ थे, अर हर कोए यो स्वीकार कर लेगा के वे बेकूफ सै।
तीमुथियुस ताहीं खास निर्देश
10-11 पर तन्नै उपदेश, चाल-चलण, मनसा, बिश्वास, सहनशीलता, प्यार, धीरज, अर सताए जाण, अर दुख ठाण म्ह मेरा साथ दिया, अर इसे दुखां म्ह भी जो अन्ताकिया नगर अर इकुनियुम अर लुस्त्रा नगरां म्ह मेरै पै आण पड़े थे, अर दुसरे दुखां म्ह भी जो मन्नै ठाए सै, पर प्रभु नै मेरै ताहीं उन सारया तै छुटा लिया। 12 पर जितने मसीह यीशु म्ह भगति कै गेल्या जीवन बिताणा चाहवैं सै वे सारे सताए जावैंगे। 13 पर दुष्ट अर भकाण आळे बिगड़दे चले जावैंगे, वे दुसरयां नै धोक्खा देवैगें, अर खुद दुसरयां तै धोक्खा खावैंगे। 14 थमनै बिश्वास करते रहणा चाहिए जो हमनै थारे ताहीं सिखाया सै, क्यूँके थम हमनै जाणो सों, अर म्हारे पै भरोस्सा कर सको सों जिननै थारे ताहीं ये बातें सिखाई सै। 15 जिब थम छोट्टे बाळक थे, जिब तै ए थमनै अपणे पवित्र ग्रन्थां म्ह सिख्या सै, जो थारे ताहीं या समझण म्ह मदद करै के जिब थम मसीह यीशु म्ह बिश्वास करो सों तो परमेसवर थमनै बचावै सै। 16 साब्ता पवित्र ग्रन्थ परमेसवर की प्रेरणा तै रच्या गया, अर म्हारे ताहीं सिखाण खात्तर उपयोगी सै, के सच के सै, अर म्हारे ताहीं यो महसूस करण खात्तर के म्हारी जिन्दगी म्ह के गलत सै। यो म्हारी गलतियाँ नै सुधारै, जिब हम गलत होवां सां, अर वोए करणा सिखावै सै जो सही सै। 17 ताके परमेसवर का जन हरेक भले काम करण खात्तर त्यार अर सिध्द बण जावै।

*3:8 यत्रेस अर यम्ब्रेस इनकै बारें म्ह निर्गमन की किताब पढ़े