21
नवलो सोरगदूत आरू नवली धरती
1 ✡2 पतरस 3:13ओळी हाव नवळो सोरगदूत आरू नवळी धरती क देख्यो, काहकि पेहळो सोरगदूत आरू पेहळी धरती जाती रयी होती, आरू दरियो भी नी रयो 2 ✡प्रकाशितवाक्य 3:12ओळी हाव चुखलो गाँव आरू नवलो यरूशलेम क सोरगदूत सी यहोवा–भगवान क साते सी आवतो देख्यो, आरू चौ तिनी लुगाई क सारकी होती, जो आपसा दुल्हा क जुगु तियार होयली होय। 3 ओळी हाव राजगाद्दी मा सी कोय काजे मोटा बुल छे यो कयता सुन्यो, देख यहोवा–भगवानन डेरो मानसोन विच मा छे; आरू चे ओको लोगहन होय जायछे, आरू यहोवा–भगवान आपसु तिन्दरे साते रहछे; आरू ओका यहोवा–भगवान होय जाछे। 4 “आरू त्यो ओका डुळान आखा आसा नुछ देसे; आरू एका ओळतेन मोत नी रहवछे, आरू नी शोक, आरू नी रोङनो, आरू नी पीङा, पेहली वात जाती रहवी।”
5 आरू जो राजगाद्दी पर बठ्यो हूतो, चो कयो, हाव आखो नवलो कर देयो। ओळी चो कयो, यी वात लिखले, काहकि यो वचन विश्वासयोग्य आरू सचो छे। 6 ओळी चौ मखे कयो, यी आखी वात पुरी होय गय छे। हाव शूरू आरू आखरी छे। हाव पीसला क जीवनन पानी क झोरो मा सी फिरी मा पावीस। 7 जो जीत जाय, चो तिनी चीज क वारीस होयछे; आरू हाव उका यहोवा–भगवान होय जाईस, आरू चो म्हारो बेटो कहवायसे। 8 बाकीन बिहने वाळा, विनभुरसीया, खराब काम, हत्यारो, व्यभिचार करने वाळा, बङवाउ झोपाय, मुर्तिपूजक करने वाळा, आरू आखा झुठ बुलने वाळा क वाट तिनी तलाव मा जोड़छे, जो आगठी आरू गन्धक छे धपती रये; यी दिसरी मोत छे।
नवलो यरूशलेम
9 ओळतेन जिनु सोरगदूतों न पास सात आखरी पीङा छे भरायला सात वाटका हूता, तिनु माइन एक मार साते आयों, आरू म्हार सात वात करिन कयो, “उरो आव, हाव तुखे दुल्हन मतलब गाड़ गाडरा कि लुगाई देखाड़ीस।” 10 आरू चो मोखे आत्मा मा, एक मोटा आरू ऊंचा बयड़ा पर ली गयों, आरू चुखलो नगर यरूशलेम क सोरगदूत छे यहोवा–भगवान न पास छे उतरतला देखाङ्यों। 11 यहोवा–भगवानन महिमा तिना मा हूती, आरू ओकी ज्योति घणोत मोंहगा दगड़ा, मतलब घाटळान तोसो यशब तोसो साफ सुतरी हूती। 12 आरू ओकी शहरपनाह मोटी उची हूती, आरू उका बारह झोपला पर बारह सोरगदूत हूता; आरू तिनु झपला पर इस्त्राएली बारा जातीन नाव लिखला हुता। 13 पूर्व तरफ तीन झोपला, जवाब तरफ तीन झोपला, दक्षिण तरफ तीन झोपला, आरू पश्चिम तरफ तीन झोपला हुता। 14 आरू नगरन शहरपनाह क बारह नींव होती, आरू तिनु पर गाड़ गाडरा क बारह प्रेरितन क बारह नाव लेदा हुता। 15 जो म्हार साते वात कर रयो हुतो, उका पास नगर आरू नगरन झोपला आरू ओकी शहरपनाह क मापने जुगे एक सोना क गज हुता। 16 चौ नगर वर्गाकार मा बठलो होतो आरू ओकी नामबाय, चोवड़ाईन बराबर हुती, आरू चो तिना गज नगर क मापीयो, ती साढे सात सौ कदाम निकल्यों: ओकी नामबाय, आरू चोवढाई, आरू उचाई बराबर हुती। 17 आरू चो ओकी शहरपनाह क मानुस क, मतलब सोरगदूत क माप छे मापियों, तो एक सौ चौवालीस हात निकळी। 18 ओकी शहरपनाह यशबन नीव बनली हुती, आरू नगर ओसा शुद्ध सोनो क हतो जो स्वच्छ शीशान क समान होय। 19 तिना नगरन नीव आखे भतियेन महंगा गदड़ा सी सवारली हुती, पेहली नींव यशबन, आरू दिसरी नीलमणिन, तीसरी लाड़ीन, चौथी मरकतन, 20 पाचवी गोमेदकन, छटवी माणिक्यन, सातवी पीतमणिन, आठवी पेरोजन, नौवी पुखराजन, दसवी चन्द्रकांत, गियारवी दुमरकान्तन, बारवी याकुतन कि हुती। 21 आरू बारह झोपला, बारा मोतियान हुता; एक–एक झोपला एक–एक मोतीन बनला हुता। आरू नगरन सयड़क चुखलो सोनान सारको हुतो।
22 हाव ओकाम काय मंदिर नी देख्यों, काहकि सर्वशक्तिमान यहोवा–भगवान, आरू गाड़ गाडरा उका मंदिर छे। 23 आरू तिना नगर मा दाहड़ु आरू चाँदन विजाळान काय जरूरत नी, काहकि यहोवा–भगवानन विजाळा छे ओकाम विजाळो होय जयो छे, आरू गाडरो उको विजाळो छे। 24 जाती–जातीन लोगहन ओका तेज चालसे–पछु छे, आरू धरती पर न राजा आपसो–आपसो सोमान उका मा लावछे। 25 उका झोपला दिस मा कदी बंद नी हुयो, आरू रात चा नी होयछे। 26 आरू लोगहन जाती–जातीन तेज आरू वैभव क सोमान उका मा लावछे।
27 आरू उका मा काय गलत चीज या खराब काम क करने वाळा, आरू झुठ क बनावने वाळा, काहय भी रीति छे माहय भराय नी सोके; पर चे लोगहन जिना नाव गाडरा न जीवनन किताब मा लिख्यो छे।