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परमेश्वर को न्याय
जो तुम दुसरा पर इलजाम लगानआलो, तु कोय क्यु नी हुये. तु अधिकार करस हइ, क्युकि जो बात मे तु दुसरा पर इलजाम लगास हइ, वा बात मी अपना तुमखे भी दोषी ठैरास हइ येकालिये की तु जो इलजाम लगास हइ खुद ही वह का करस हइ. हम जानस हइ, कि असो असो काम करणवाले पर परमेश्वर का तरप‍ से बरोबर दण्ड दराड कि आज्ञा होस हइ. पन हे इन्सान तु जो असो असो काम करणवाला पर इलजाम लगास हइ, अरु आप उ काम करस हइ. का यो समझस हइ, की तू परमेश्वर का दण्ड से बची जाये. का तु वोकी कृपा अरु सहनशीलता, अरु धिरजरुपी धन खे तुच्छ जानस हइ? का यो नी समझस की परमेश्वर कि कृपा मेखे मन फिराव का सीकास हइ. पन तु अपनी हठिला मन का कारण उ दिन जब परमेश्वर की घुस्सा अरु सच्चो न्याय प्रगट हुये, अपना लिये दण्ड तैयार करी रोस हइ. परमेश्वर अपना हर एक खे ओका काम का अनुसार फल दीये. जो दुन्या सुकर्म मे लग्या ऱ्ही खे महिमा, अरु आदर, अरु अमरता खे ढुंड ना मे हइ, उनखे परमेश्वर अनन्त जिवन दिये. पन जो स्वार्थी हइ, अरु सच्चाइ का नकारस हइ फिर बुरोकाम करी सखे असा दुन्याहोन पर परमेश्वर अपनी घुस्सा अरु प्रकोप गिरास हइ. अरु डर अरु संकट हर एक दुन्याहोन का जान पर जो बुरो करस हइ, ओका पर आह्ये, पैयले यहूदी पर फिर यूनानी पर. 10 पर महिमा अरु इज्जत अरु कल्याण हर एक खे मील्हे, जो अच्छो करस हइ, पैयले यहूदी खे फिर यूनानी खे. 11 क्युकि परमेश्वर बिना पक्षपात कि सब को न्याय करस हइ.
12 येकालिये जेने बिना व्यवस्था पास पाप कऱ्यो, वे बिना व्यवस्था को खतना भी हुये. अरु जेने व्यवस्था पइके पाप कऱ्यो, ओको दण्ड व्यवस्था का अनुसार हुये. 13 क्युकि परमेश्वर का यो व्यवस्था का सुननवाला धर्मी नी, पन व्यवस्था पर चलनआला धर्मी रुखी जाह्‍ये. 14 फिर जब गैरयहूदीहोन दुन्या का पास व्यवस्था नी हइ, पन फिर भी वे अपना आप मे व्यवस्था पर चलस हइ, यो वजा से उ अपना आप मे व्यवस्था फिर भी उनका पास मूसा कि व्यवस्था नी हइ. 15 उनको चाल चलन देखस हइ की व्यवस्था उनका दिल मे लीखी गइ हुइ अरु उनको विवेक भी उनखे बोलस हइ, कि यो सही हइ अरु येखे लिखे उनको बिचार उनखे अपराधी अरु नीरदोष समझस हइ 16 उ दिन परमेश्वर जो मे ने प्रचार कऱ्यो हुयो सुसमाचार का अनुसार यीशु मसीह का वजेसे इन्सान न्याय की गुप्त बात को न्‍याय कऱ्हे.
यहूदी अरु व्यवस्था
17 अगर तुम अपने आप खे यहूदी बोलस हइ, अरु व्यवस्था पर भरोसो रखस हइ, अरु अपना परमेश्वर को तोखे घमण्ड हइ, 18 अरु तोखे पतो हइ परमेश्वर तरा से का करणो चास हइ अरु अच्छी बात खे सुननो तुमने समज्हे नीयम शास्त्र से सिख्यो हइ. 19 अरु अपना आप पर भरोसो रखस हइ कि मी अंधाहोन को अगुवो, अरु अंधारा मे गिऱ्यो हुयो कि उजालो हइ, 20 अरु बदडिमाक खे सिखान आलो अरु भला दुन्या को मास्तर हइ. अरु तू नीश्चित हइ की जो व्यवस्था तरा पास हइ, ओमे पुरो सत्य अरु ज्ञान को समावेश हइ. 21 आखरी का तु जो दुसरा खे सिकास हइ, अपना आप का लिये लागु नी करस? का तु चोरी नी करण की शिक्षा देस हइ, आप ही चोरी करस हइ? 22 तू जो बोलस हइ, “व्यभिचार नी करणु,” का आप ही व्यभिचार करस हइ? तू जो मूर्ती से घृणा करस हइ, का तुम ही मन्दिरहोन खे लुटस हइ? 23 तुम जो परमेश्वर कि व्यवस्था का बारे मे घमण्ड करस हइ, का वा व्यवस्था नी मानीखे परमेश्वर को अनादर करस हइ? 24 क्युकि तुमारा कारन गैरयहूदीहोन मे परमेश्वर का नाम कि नीन्दा करी जास हइ, जसो शास्त्र मे भी लिख्यो हइ.
25 अगर तु व्यवस्था को पालन करस ते खतना से लाभ हइ, पन अगर तु व्यवस्था के अलग करस हइ ते तरो खतनो बिन खतना को जसो रुखे. 26 अरु अगर गैरयहूदीहोन जेको खतनो नी हुयो हइ फिर भी व्यवस्था को पालन करस हइ, ते का ओकी खतना रहित होन को भी खतना नी गिन्यो जाये? 27 अरु आप यहूदीहोन खे गैरयहूदीहोन का वजेसे दोषी ठैरायो जास जब की तुमारा पास लिखी हूइ व्यवस्था अरु खतना हुयो हइ, पन गैरयहूदीहोन व्यस्था को पालन करस हइ जब की उनका आंग का रुप से खतना नी हुयो हइ? 28 एक सच्च्चो यहूदी कोन हइ जेको वास्तव मे खतनो हुयो हइ उ कोन हइ, सच्चो यहूदी उ नी, जो फक्त बाहरी रुप से यहूदी हइ जेको खतना सिर्फ आंग मे हइ. 29 पन सच्चो यहूदी उ हइ जो अंदर से यहूदी हइ. जेको दिल से खतना हुयो हइ अरु ये परमेश्वर का आत्मा को काम हइ नी की लिखीत व्ययस्था को, असो इन्सान परमेश्वर का तरप से प्रशसा पाये नी की इन्सान का तरप से.