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टिड्डी, आग और एक साहुल 
  1 प्रभु याहवेह ने मुझे यह दिखाया: जब राजा के हिस्से की फसल कट चुकी थी और बाद की फसल आनेवाली थी, तब याहवेह टिड्डियों के दल को तैयार कर रहे थे.   2 जब टिड्डियां देश की सारी वनस्पति को चट कर चुकीं, तब मैंने पुकारा, “हे प्रभु याहवेह, क्षमा कर दें! याकोब कैसे जीवित रह सकता है? वह बहुत छोटा है!”   
 3 इस पर याहवेह ने यह विचार त्याग दिया.  
और उसने कहा, “अब ऐसी बात न होगी.”   
 4 तब प्रभु याहवेह ने मुझे यह दिखाया: परम प्रभु न्याय के लिये आग को पुकार रहे थे; इस अग्नि ने महासागर को सुखा दिया तथा भूमि को नष्ट कर दिया.   5 तब मैंने पुकारा, “हे परम प्रभु याहवेह, मैं आपसे बिनती करता हूं, इसे बंद कीजिये! याकोब कैसे जीवित रह सकता है? वह बहुत छोटा है!”   
 6 तब याहवेह ने इस विषय में अपना विचार त्याग दिया.  
और परम प्रभु ने कहा, “अब यह बात भी न होगी.”   
 7 तब उसने मुझे यह दिखाया: प्रभु अपने हाथ में एक साहुल लिए हुए साहुल की एक दीवार पर खड़े थे.   8 और याहवेह ने मुझसे पूछा, “आमोस, तुम्हें क्या दिखाई दे रहा है?”  
मैंने उत्तर दिया, “एक साहुल,”  
तब प्रभु ने कहा, “देख, मैं अपने इस्राएली लोगों के बीच में एक साहुल लगा रहा हूं; अब मैं उनको नहीं छोड़ूंगा.   
 9 “यित्सहाक के ऊंचे स्थान नाश किए जाएंगे  
और इस्राएल के पवित्र स्थान खंडहर हो जाएंगे;  
और मैं तलवार लेकर यरोबोअम के वंश पर आक्रमण करूंगा.”   
आमोस और अमाज़्याह 
  10 तब बेथेल के पुरोहित अमाज़्याह ने इस्राएल के राजा यरोबोअम के पास यह संदेश भेजा: “आमोस इस्राएल के वंश के बीच में तुम्हारे विरुद्ध एक षड़्यंत्र कर रहा है. इस देश के लिए उसकी बातें असहनीय है.   11 क्योंकि आमोस यह कह रहा है:  
“ ‘यरोबोअम तलवार से मारा जाएगा,  
और इस्राएल अपनी मातृभूमि से अलग  
बंधुआई में चला जाएगा.’ ”   
 12 तब अमाज़्याह ने आमोस से कहा, “हे भविष्यदर्शी, यहां से भाग जा! यहूदिया देश को चला जा. वहां कमा खा और वहां अपनी भविष्यवाणी कर.   13 अब बेथेल फिर कभी भविष्यवाणी न करना, क्योंकि यह राजा का पवित्र स्थान और राज्य का मंदिर है.”   
 14 आमोस ने अमाज़्याह को उत्तर दिया, “मैं न तो भविष्यवक्ता था और न ही मेरे पिताजी भविष्यवक्ता थे, परंतु मैं तो एक चरवाहा था और मैं गूलर वृक्षों की देखरेख करता था.   15 पर याहवेह ने मुझे पशुओं की देखभाल करने के काम से बुलाकर कहा, ‘जा, और मेरे लोग इस्राएलियों से भविष्यवाणी कर.’   16 इसलिये अब याहवेह का वचन सुनो. तुम कहते हो,  
“ ‘इस्राएल के विरुद्ध में भविष्यवाणी मत कर,  
यित्सहाक के वंशजों के विरुद्ध बातें कहना बंद कर.’   
 17 “इसलिये याहवेह का कहना यह है:  
“ ‘तुम्हारी पत्नी शहर में एक वेश्या हो जाएगी,  
और तुम्हारे पुत्र और पुत्रियां तलवार से मारे जाएंगे.  
तुम्हारे देश को नापा जाएगा और विभाजित कर दिया जाएगा,  
और तुम स्वयं एक मूर्तिपूजक देश में मरोगे.  
और निश्चित रूप से इस्राएल अपनी मातृभूमि से अलग  
बंधुआई में चला जाएगा.’ ”