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प्रभु यीसु को फिर से आन को पहिले तैयार रहनो
1 पर भैय्या अर बहिन हुन तुम खुद अच्छी तरीका से जाना हैं कि प्रभु को दिन रात को चोर को जसो आहे। एकोलाने ऐको सही बखत को बारे म तुमरो लाने कुछु लिखन की जरूरत नी हाय। 2 काहेकि तुम खुद अच्छी तरीका से जाना हैं कि प्रभु को दिन रात म आन वालो एक चोर को जसो आन वालो हैं। 3 जब अदमी हुन बोलत होये, “सब कुछ सान्ति *कुसल हैं, अर कुछ डर नी हाय,” ते उन पा एकाएक अकाल आ जाएगो, जे तरीका से गरभ वाली पर दुख; अर वी कोई भी तरीका से नी बचन का। 4 पर भैय्या हुन अर बहिन हुन!, तुम तो इंधारो म नी हाय कि उ दिन तुम पा चोर को समान आ ख पकडे। 5 काहेकि तुम सब ज्योति की संतान हैं अर दिन की संतान आय; हम न रात का हैं अर न इंधारो का हैं। 6 एकोलाने हम दुसरा को समान सोते नी रैय पर जगते अर भागते सोते रहे। 7 काहेकि जो सोवा हैं वी रात ही ख सोवा हैं, अर जो नसा म धुत†मतवाले रहवा हैं, वी रात ही ख नसा म धुत रहवा हैं। 8 पर हम जो दिन का हैं, विस्वास अर प्रेम को कवच‡झिलम पहिन ख अर उध्दार की आसा को टोपा पहिन ख सतर ख §सावधानरहे। 9 काहेकि परमेस्वर न हम का घुस्सा को लाने नी, पर एकोलाने ठहरायो हैं कि हम अपनो प्रभु यीसु मसी को दुवारा उध्दार प्राप्त करे। 10 मसी हमरो लाने एकोलाने मरियो, जसो हम चाहे जिन्दा रैय या मर गया होय, सब मिलका ओको ही संग जीएँ। 11 एकोलाने एक दुसरा का सान्ति देव अर एक दुसरा ख बढ़ान*उन्नति को काम करो जसा कि तुम करते भी जावा हैं।
आखरी म जातानो
12 अरे भैय्या हुन हम तुम से एक विनती करा हैं। तुम वी इंसान हुन कि इज्जत करनो, जो तुमरो बीच म मेहनत करा हैं, अर प्रभु म तुमारा अगुवा हैं, अर तुम ख ग्यान सिखावा हैं, उनकी इज्जत करो। 13 तुम प्रेम को संग उनकी खूब इज्जत करो, काहेकि वी तुमरो लाने मेहनत करा हैं। आपस म मिल जुल ख रहनो।
14 अरे भैय्या हुन अर बहिन हुन, हम तुम से विनती करा हैं कि तुम आलसी हुन ख समझाते रहनू, काम चोर हुन ख हिम्मत देव, कमजोर हुन ख समालो, अऊर सब को संग मेल जोल को व्यवहार करो। 15 सतर का रहनु! कोई, कोई से बुराई को बदला बुरई नी करन को; पर हमेसा भलाई करन पर तैयार रहनो, एक दुसरो म अर सब से ही भी भलई की बात करनो।
16 हमेसा खुस रैयनो। 17 हमेसा बिनती करते रहनु। 18 हर बात म परमेस्वर को धन्यवाद करते रहनो; काहेकि तुमरो लाने मसी यीसु म परमेस्वर कि यई मरजी हैं।
19 आत्मा ख मत बुझानो। 20 भविस्यवानी हुन का बेकार मत समझनो। 21 सब बात हुन का परखो; जे अच्छी हैं ओखा पकड़ ख रहनू। 22 सब तरीका की बुराई से बचियो रहनु।
23 सान्ति को परमेस्वर खुद ही तुम ख पुरी तरीका से सुध्द करे; अर तुमरी आत्मा अर जान अर सरीर हमरो प्रभु यीसु मसी को आन तक पुरा-पुरो अर बेकसुर सभल ख रहे। 24 तुमका बुलान वालो परमेस्वर सच्चो हैं अर उ असो ही करेगों।
25 अरे भैय्या हुन, तुम हमरो लाने भी बिनती करनु।
26 सब भई बंद हुन ख प्रेम को सुध्द चुम्मा से सम्मान करनु।
27 मी तुम ख प्रभु की कसम देऊ हैं कि या चिठ्टी सब भई हुन ख पढ़ ख सुनाई जाय।
28 हमरो प्रभु यीसु मसी कि किरपा तुम पा होती रैय।