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सजीव गोटा अऊर पवित्र प्रजा
1 येकोलायी सब तरह की बुरायी, अऊर कपट, जलन या अपमानित भाषा ख अपनो आप म सी निकाल देवो। 2 नयो जनम भयो बच्चां को जसो शुद्ध आत्मिक दूध को प्यासो रहो, येकोलायी येको पिवन को द्वारा तुम्हरो विकास अऊर उद्धार बचायो जाये। 3 जसो कि शास्त्र म लिख्यो हय, अपनो आप जान लियो कि प्रभु कितनो भलो हय।
4 प्रभु को जवर आवो, ऊ सजीव गोटा जो लोगों को द्वारा बेकार समझ क नकार दियो होतो पर जो परमेश्वर को लायी बहुमूल्य हय ओको द्वारा चुन्यो गयो होतो, 5 तुम भी सजीव गोटा को जसो आत्मिक मन्दिरों को रूप म बनायो जाय रह्यो हय ताकी एक असो पवित्र याजकमण्डल को रूप म सेवा कर सको जेको कर्तव्य असो आध्यात्मिक बलिदान समर्पित करय हय जो यीशु मसीह को द्वारा परमेश्वर को स्वीकार लायक हो। 6 यो कारण पवित्र शास्त्र म भी लिख्यो हय:
“मय एक बहुमूल्य गोटा चुन्यो हय
जेक मय न सिय्योन को कोना को गोटा रख्यो हय;
जो कोयी ओको म विश्वास करेंन ऊ कभी भी शर्मिन्दा नहीं होयेंन।”
7 तुम विश्वासियों को लायी यो गोटा बहुत बहुमूल्य हय; पर जो विश्वास नहीं करय:
ऊ गोटा जेक राजमिस्त्रियों न बेकार समझ क
नकारयो उच गोटा सब को लायी महत्वपूर्ण कोना को गोटा बन गयो:
8 अऊर शास्त्र म यो भी लिख्यो हय,
“यो ऊ गोटा आय जो लोगों ख ठेस पहुंचायेंन,
यो चट्टान जो लोगों ख ठोकर दे क गिरायेंन,”
ऊ ठोकर खायेंन कहालीकि हि परमेश्वर को वचन पर विश्वास नहीं करय अऊर योच उन्को लायी परमेश्वर की इच्छा होती।
9 ✡तीतुस २:१४पर तुम एक चुन्यो हुयो वंश, अऊर राज-पदधारी याजकों को समाज, पवित्र प्रजा, अऊर परमेश्वर को खुद को लोग हो, येकोलायी कि जेन तुम्ख अन्धारो म सी अपनी अद्भुत ज्योति म बुलायो हय, ओको महान काम की घोषना करो। 10 एक समय होतो जब तुम प्रजा नहीं होतो पर अब तुम परमेश्वर की प्रजा हो। एक समय होतो जब तुम दया को लायक नहीं होतो पर अब तुम पर परमेश्वर न दया दिखायी हय।
परमेश्वर को सेवक
11 हे प्रिय संगियों, मय तुम सी, जो यो जगत म अजनबी को रूप म हय, आग्रह करू हय कि ऊ शारीरिक इच्छावों सी दूर रहो जो तुम्हरी आत्मावों सी लड़ती रह्य हय। 12 गैरयहूदी को बीच अपनो व्यवहार इतनो अच्छो बनायो रखो कि चाहे हि अपराधी को रूप म तुम्हरी आलोचना करे पर तुम्हरो अच्छो कर्मों को परिनाम स्वरूप ओको आवन को दिन हि परमेश्वर ख महिमा प्रदान करे।
13 प्रभु को लायी अपनो आप ख हर मानव अधिकारी को अधीन रहो: सर्वोच्च को अधीन येकोलायी कि ऊ सब पर शासन करय हय, 14 अऊर शासकों को, कहालीकि हि गलत काम करन वालो ख न्याय देन अऊर अच्छो लोगों की बड़ायी को लायी ओको भेज्यो हुयो हंय। 15 कहालीकि परमेश्वर तुम सी यो चाहवय हय कि तुम अपनो अच्छो कार्यो सी मुर्ख लोगों की अज्ञानता की बातों ख चुप कराय देवो। 16 अपनो आप ख स्वतंत्र व्यक्ति को जसो जीवन बितावो; पर अपनी यो स्वतंत्रता को उपयोग बुरी बातों ख झाकन को लायी मत करो पर परमेश्वर को सेवकों को जसो जीवो। 17 सब को आदर करो, अपनो दूसरों विश्वासी भाऊवों सी प्रेम रखो, परमेश्वर को आदर को संग डर मानो, राजा को सम्मान करो।
मसीह हमरो आदर्श
18 हे सेवकों, अपनो आप ख अपनो मालिकों को अधीन रखो अऊर उन्ख पूरो रीति सी आदर देवो, नहीं केवल उन्को जो अच्छो अऊर दूसरों को लायी चिन्ता करय हय बल्की उन ख भी जो कठोर हय। 19 कहालीकि यदि कोयी परमेश्वर को बिचार कर क् अन्याय सी दु:ख उठातो हुयो कठिनायी सहय हय त यो अच्छो हय। 20 कहालीकि यदि तुम न अपराध कर क् घूसा खायो अऊर धीरज धरयो, त येको म का बड़ायी की बात हय? पर यदि अच्छो काम कर क् दु:ख उठावय हय अऊर धीरज धरय हय, त यो परमेश्वर ख अच्छो भावय हय। 21 पर तुम्ख परमेश्वर न येकोच लायी बुलायो हय, की मसीह न दु:ख उठायो हय, असो कर क् हमरो लायी एक उदाहरन छोड़्यो हय ताकी हम ओको पद चिन्हों पर चले। 22 ओन कोयी पाप नहीं करयो अऊर कोयी न ओको मुंह सी झूठी बात नहीं सुनी। 23 जब ऊ अपमानित भयो तब ओन कोयी को अपमान कर क् प्रतिउत्तर नहीं दियो। जब ओन दु:ख झेल्यो, ओन कोयी ख धमकी नहीं दी बल्की ऊ सच्चो न्याय करन वालो परमेश्वर म अपनी आशावों ख रख्यो। 24 मसीह न खुदच हमरो पापों ख अपनो शरीर पर क्रूस पर ओढ़ लियो ताकी हम अपनो पापों को प्रती हमरी मृत्यु होय जाये अऊर सच्चायी को लायी जीये। यो ओको उन घावों को कारणच भयो जिन्कोसी तुम चंगो करयो गयो हय। 25 तुम मेंढा को जसो होतो जो अपनो रस्ता भटक गयो होतो पर अब खुद फिर सी वापस अपनो चरवाहा अऊर तुम्हरो आत्मावों को रख वालो को जवर लायो गयो हय।