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मंडळी मां आंग्ये पंथ बणावणेन झगड़ा
1 ए भायसे ने भणस्या, मे तुंद्रे सी हीनी रीत सी वात नी कर सक्यु, जसों आत्मा मां भरायला माणसे सी, बाकुन जसों डीलेन माणसे सी, ने हींद्रे सी जे ईसु मसी मां पुर्या छे।
2 मे तुहुंक दुत पीवाड़्यु, अन नी खावाड़्यु; काहाकी तुहुं हीनाक नी खाय सकतेला; बाकुन हय लग बी नी खाय सकता,
3 काहाकी हय लग डीलेन छे। हेरेसी की जत्यार तुंद्रे मां रीस ने झगड़ा छे, ती काय तुहुं डीलेन नी हय। ने काय माणसेन रीत पर नी चालु?
4 काहाकी जत्यार एक कह्वे, “मे पोलुसेन छे,” ने दीसरु कह्वे, “मे अपुल्लोस छे,” ती काय तुहुं डीलेन माणुस नी हय?
5 अपुल्लोस कुण छे? ने पोलुस कुण छे? सीरप चाकरी करन्यु छे, जेरे साहरे तुहुं भुरसु कर्या, जसा आखा एकेक काजे मालीक आपलु छे।
6 मे लागाड़्यु, अपुल्लोस देख-भाळ कर्यु, बाकुन भगवान अदाड़्यु।
7 हेरेसी नी ते लागाड़ने वाळु कायबी नी हय ने नी अदाड़ने वाळु, बाकुन भगवान आखो काय छे जु अदाड़ने वाळु छे।
8 लागाड़ने वाळु ने अदाड़ने वाळा दुयु एकुत छे; बाकुन आखा एक अदमी आपणात मेहनेतेन अनसारे आपणीत दाहड़की जड़ली छे।
9 काहाकी हामु भगवानेन साजल्या छे।
तुहुं भगवानेन खेत ने भगवानेन घर रवे।
10 भगवान हीना गीण-दयान अनसारे ज्य मेसे आपलो हतलो, मे अकलवाळु ने मीस्तरीन सारकु खुदीन नेवु नाखलु छे, बाकुन हीना पाया पर भीतड़ो ते दीसरात बांदे बाकुन आखा एक माणसे हुसीयार रवु की हेरे पर भीतड़ो कसों बांदणु चाहजे।
11 काहाकी हीना नेहा काजे छुड़ीन जी पड़ली छे, ने चु ईसु मसी छे, कुय दीसरु नेवु नी नाख सकतु।
12 कदी कुय हीना नेहा पर सनो नीते चांदी नीते बेसकु महंगु दगड़ु नीते लाकड़ो नीते खड़ नीते सुकलु चारान भीतड़ो बांदे,
13 ती आखा एक जणान काम उजेंतो हय जासे; काहाकी चु दाहड़ु हीनाक बताड़से, हेरेसी की आकठा साते उजेंतु हवणे ने चो आकठो आखा एक-एक जणान काम पारखसे की कसु छे।
14 जेरो काम हेरे पर बणीन रवसे, तीनाक ईनाम जड़से।
15 कदी काहानाक ने काम धपी जासे, ती चु दुख हाकलसे; बाकुन चु आपसुत धपते-धपते बची जासे।
16 काय तुहुं नी जाणता की तुहुं भगवानेन मंदीर छे, ने भगवानेन आत्मा तुंद्रे मां वसे?
17 कदी कुय भगवानेन मंदीर काजे खत्तम करसे, ती भगवान बी हीनाक खत्तम कर देसे; काहाकी भगवानेन मंदीर चुखलु छे, ने चे तुहुं छे।
18 कुय आपसात काजे धुकु नी देय। कदी तुंद्रे मां सी कुय हीनी कळी मां आपसा काजे अक्कल वाळु समजे, ती डेड़ अकल्यु बणे की चु भगवान अगळ अकलवाळु बण जाय।
19 काहाकी हीनी कळीन अक्कल भगवान धड़े डेड़-अकल्या छे, जसों चुखला सास्तुर मां लिखलो छे, “चु अकलवाळा काजे हींद्री हुसारी मां फसाड़ देय”
20 ने अळी, “मालीक अकलवाळान वीच्यार काजे जाणे की चे फालतु छे।”
21 हेरेसी माणसे पर कुय बी मटाय नी करे, काहाकी आखो काय तुंद्रोत छे:
22 काय पोलुस, काय अपुल्लोस, काय केफा, काय कळी, काय जीवन, काय मरनु, काय हयन घड़ी, काय आवणे वाळी वात, आखो तुंद्रोत छे,
23 ने तुहुं मसीन छे, ने मसी भगवानेन छे।