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आसमानो-ज़मीन पर अल्लाह की तमजीद
1 रब की हम्द हो! आसमान से रब की सताइश करो, बुलंदियों पर उस की तमजीद करो!
2 ऐ उसके तमाम फ़रिश्तो, उस की हम्द करो! ऐ उसके तमाम लशकरो, उस की तारीफ़ करो!
3 ऐ सूरज और चाँद, उस की हम्द करो! ऐ तमाम चमकदार सितारो, उस की सताइश करो!
4 ऐ बुलंदतरीन आसमानो और आसमान के ऊपर के पानी, उस की हम्द करो!
5 वह रब के नाम की सताइश करें, क्योंकि उसने फ़रमाया तो वह वुजूद में आए।
6 उसने नाक़ाबिले-मनसूख़ फ़रमान जारी करके उन्हें हमेशा के लिए क़ायम किया है।
7 ऐ समुंदर के अज़दहाओ और तमाम गहराइयो, ज़मीन से रब की तमजीद करो!
8 ऐ आग, ओलो, बर्फ़, धुंध और उसके हुक्म पर चलनेवाली आँधियो, उस की हम्द करो!
9 ऐ पहाड़ो और पहाड़ियो, फलदार दरख़तो और तमाम देवदारो, उस की तारीफ़ करो!
10 ऐ जंगली जानवरो, मवीशियो, रेंगनेवाली मख़लूक़ात और परिंदो, उस की हम्द करो!
11 ऐ ज़मीन के बादशाहो और तमाम क़ौमो, सरदारो और ज़मीन के तमाम हुक्मरानो, उस की तमजीद करो!
12 ऐ नौजवानो और कुँवारियो, बुज़ुर्गो और बच्चो, उस की हम्द करो!
13 सब रब के नाम की सताइश करें, क्योंकि सिर्फ़ उसी का नाम अज़ीम है, उस की अज़मत आसमानो-ज़मीन से आला है।
14 उसने अपनी क़ौम को सरफ़राज़ करके अपने तमाम ईमानदारों की शोहरत बढ़ाई है, यानी इसराईलियों की शोहरत, उस क़ौम की जो उसके क़रीब रहती है। रब की हम्द हो!