2 कुरीन्थियो खे नाम पौलुस प्रेरित की चिठ्ठी
2 कुरीन्थिहोन का नाम पौलुस प्रेरित की चिठ्ठी
पैछान
2 कुरिन्थिहोन खे प्रेरिट ने यीशु मसीह का जन्म का नजीकपास 55-56 साल बाद लिखी थी 1:1. यो हमारा पास मौजूप दो चिठ्ठीहोन मे से दूसरो हइ जो पैलुस ने कोरिन्थ मे मंडली खे लिखी थी. विव्दानहोन खे माननो हइ पौलुस ने पहला किरिन्थिहोन खे एक गंभीर चिठ्ठी लिखी थी. हमारा पास चिठ्ठी कि कोय प्रती नी हइ जेका संदर्भ उ 2:3-4 मे देस हइ. 2 कुरिन्थिहोन खे संभवता टब लिखी गइ थी जब पौलुस मैसेडोनीया मे थो 2:13.
2 कुरिन्थिहोन यो मायना मे दूसरो हइ कि यो एक भोट ही व्यक्तिगत अरु भावनात्मक चिठ्ठी हइ. पौलुस ने कुरिन्थ मे चर्च का बारे मे टाइटस से मील्हे अच्छी रिपोर्ट का बारे मे अपनी खुशी व्यक्ट करी. या चिठ्ठी मेखे हम नवा नीयम का परिक्ष्य से देन का बारे मे विस्तृत शिक्षा मीलस हइ, उ खंडा मे जहा पौलुस यरुशलेम मे विशश्वासिहोन कि मदद का लिये धन जमा करण का नीर्पेश देस हइ 8—9. असो लगस हइ कि चर्च का कुछ दुन्याहोन कि दुश्मनी कि इस्तामाल करी रो थो. वे पलुस का अधिकार पर आंग जतय रो थो, जेने शायद ओखे 2 कुरिन्थिहोन का आखरी मे यीशु मसीह का प्रेरिट का रुप मे अपना अधिकार कि द्दढत से पुष्टि करस का लिये प्रेरिट कऱ्यो.
रुप रेखा
1. पौलुस ने अपनी चिठ्ठी कि शुरुआत चर्च खे नमस्कार करी खे 1:1-7
2. येका बाद पौलुस अपनी यात्रा योझनाहोन मे बदलाव अरु उनका बार मे मील्हे रिपोर्टो अरु अपनी पिछनी चिठ्ठी पर उनकी प्रतीक्रिया का बारे मे बाट करस हइ 1:8—7:16
3. ओका बाद, पौलुस यरुशलेम मे विश्वासिहोन का लिये धन संग्रह का संबंध मे नीर्देश देस हइ 8:1—9:15
4. आखरी मे पौलुस अपना प्रेरितत्व का बचाव करस हइ अरु अपनी अगली यात्रा का बारे चेतावनी देस हइ 10:1—13:10
1
अभिवादन
1 पौलुस का तरफ से जो परमेश्वर की इच्छा से मसीह यीशु को प्रेरित हइ,
अरु भैइ अरु बहीन तीमुथियुस का तरफ से परमेश्वर की वा मंडली का नाम जो कुरिन्थुस मे हइ, अरु पुरा अखाया का सब पवित्र इन्सानहोन का नाम से.
2 हमारो बाप परमेश्वर अरु प्रभु यीशु मसीह का तरफ से तुम खे अनुग्रह अरु शांती मीलती र्हिये.
शांती को परमेश्वर
3 हमारो प्रभु यीशु मसीह को परमेश्वर अरु बाप को धन्यवाद हो, जो दया को बाप अरु सब प्रकार की शांती को परमेश्वर हइ. 4 उ हमारा सब दुखहोन मे शांती देस हइ. ताकि हम वा शांतीकरण जो परमेश्वर हम खे देस हइ, उनका भी शांती दि सक्येका जो कोय रंग को दुख मे हइ. 5 क्युकि जसो मसीह को दुख हम खे जादा होस हइ, वसो ही हमारी शांती मे भी मसीह का वजेसे जादा हिस्सेदार होस हइ. 6 अगर हम दुख पास हइ, ते या तुमारी शांती अरु उध्दार का लिये हइ अरु अगर शांती पास हइ, ते या तुमारी शांती लिये हइ. जेको प्रभाव से तुम धीरज का साथ उन दुखहोन खे सैइ लेस हइ, जिन खे हम भी सहस हइ. 7 अरु हमारी आस तुमारा बारे मे मजबुत हइ. क्युकि हम जानस हइ, कि तुम जसा दुखहोन खे ओसो ही शांती मे भी हिस्सेदार हइ.
8 हे भैइहोन अरु बहीन, हम नी चाह्ये कि तुम हमारो उ दुख से अनजान र्हियेका जो आसिया मे हम पर पड्यो कि असो भारी बोझ से दबी गया था, जो हमारा सामर्थ्य से बाहेर थो, ह्या तक कि हम जिवन से भी हात धोइ बठ्या था. 9 क्युकी हमने अपना मन मे समझी लियो थो, कि हम पर मरन की सजा हुइ चुकी हइ कि हम अपनो भरोसा नी रख्ये का क्युकी परमेश्वर को जो मर्या हुया खे जिन्दो हइ. 10 ओ ने हम खे मरना का असो बडो संकट से बचायो अरु बचास. अरु ओकासे हमारी ह्या आस हइ, कि उ आगे खे भी बचातो र्हिये. 11 अरु तुम भी मीलीखे प्रार्थना का वजेसे हमारी मदत कर्ये कि जो वरदान भोतजन का द्वारा हम खे मील्यो कि ओका कारण भोत इन्सान हमारा तरफ से धन्यवाद करणु.
सफा मन
12 क्युकि हम अपना विवेक की या गवइ पर घमण्ड करस हइ, कि संसार मे अरु खास करी खे तुमारा बीच हमारो चरित्र परमेश्वर का लायक असी पवित्रता अरु सच्ची सहित थो का जो शारीरिक ज्ञान से नी का पर परमेश्वर को अनुग्रह का साथ थो. 13 हम तुम खे अरु कुछ नी लिखे फक्त उ जो तुम पडस या मानता भी हइ, अरु मेखे आस हइ, कि आखरी तक भी मानते र्हिये. 14 जसो तुम मे से खे त्ताने ने मानी लियो हइ, कि हम तुमारा घमण्ड करस हइ. ओसो तुम भी प्रभु यीशु का दिन हमारा लिये घमण्ड को करण ठैइऱ्यो.
15 अरु यो जरुरत मी चाहतो थो कि पैयले तुमारा पास आयु. कि तुम खे एक अरु दान मील्ये. 16 अरु तुमारा पास से हुइ, मकिदुनी खे जायु,अरु मकिदुनी से तुमारा पास आयु अरु तुम मेखे यहूदीया का तरफ कुछ दूर तक पहुच्यु. 17 येका लिये मेने जो या इच्छा करी थी तेका मेने चंचलता दिखै? यो जो करणो चाहस हइ, आंग का जसो करणो चाहस हइ, कि बात मे हाक “हा” भी कर्यु. अरु “नी भी नी” कर्यु? 18 परमेश्वर विश्वास लायक हइ, कि हमारो उ वचन मेने जो तुम से बोल्यो “हा” अरु “नी” दोइ मीली “नी जाये.” 19 क्युकि परमेश्वर को बेटो यीशु मसीह जेको हमारा वजेसे मंनज्हे मरो अरु सिलवानुस अरु ती तीमुथियुस का वजेसे तुमारा बीच मे प्रचार हुयो. ओमे “हा” अरु “नी” दोइ नी थी. पर का ओमे “हा” ही “हा” हुइ. 20 क्युकि परमेश्वर की जितनी प्रतीज्ञाहोन हइ, वे सब ओ मे “हा” साथ हइ येका लिये ओका वजेसे आमीन भी हुइ, कि हमारा वजेसे परमेश्वर की महिमा हो. 21 अरु जो हमने तुमारा साथ मसीह मे मजबुद करस हइ, अरु जे ने हमखे अभिषेक कर्यो उ परमेश्वर हइ. 22 जे ने हम पर नीशान भी करी दी हइ अरु बयान मे आत्मा खे हमारा मनहोन मे दियो.
23 मी परमेश्वर का मन से गवाह करुस हइ, कि मी अब तक कुरिन्थुस मे येका लिये नी आयो, कि मेखे तुम पर तरस आती थी. 24 यो नी कि हम विश्वास का बारे मे तुम पर प्रभुता जतानो चाहस हइ. पर तुमारी खुशी मे सहायक हइ क्युकि तुम विश्वास ही से स्थिर र्हेस हइ.