22
जिवन पाणी की नदी
फिर वोने मेखे बगडी का जसी झलकन हुयो, जान को पाणी कि नंद्दी दिखानो, जो परमेश्वर अरु मेडा खे राजगद्दी से नीकलीखे वा नगर कि सडक, बिचो बिच बोहाती थी. नद्दी का यो पार अरु वा पार जान को झाड थो. वोमे बोहय खे रेगेरंग को फल लगतो थो, अरु व्ह हर महीना मे फल आतो थो. अरु वु झाड को पत्ता से जात जात, दुन्या अच्छा होता था. फिर श्राप नी हुये खे अरु परमेश्वर वोको मुडा का सिंहासन वोकि सेवक कर्‍हे. वे वोका मुडो देख्ये
अरु वो को नाम वोका माथा पर लिख्यो हुयो हुये. फिर रात नी होनकी, अरु वुन खे दिव्वो अरु सुरज को उजाला की जरुरत नी हुये खे क्युकि प्रभु परमेश्वर वुन खे उजाला दिह्येका अरु वे पिडमपिडि से राज कर्‍ह्ये.
यीशु को आनो
फिर वोने मरा से बोल्यो, “या बात विश्वास का योग्य अरु सच्ची हइ प्रभु ने, जो भविष्यव्दक्ताहोन आत्माहोन को परमेश्वर हइ, अपनो स्वर्गदूत खे येका वासते भेज्यो कि अपनो सेवक खे वे बात, जिनको झल्दी पुरो होनो जरुरती हइ,दिखाये.” “देख मी” झल्दी. “आनवालो हय! धन्य हइ उ, जो यो किताब कि भविष्यवाणी की बात मानस हइ!” मी उ यहून्ना हय, जो या बात सुन्ह्ये अरु देखतो थो. जब मे ने सुन्यो अरु देख्यो, ते जो स्वर्गदूत मेखे या बात दिखातो थो, अरु मी वोको पाय पर दण्डवत करण का वासते गिरी गयो. पर वोने मेखे बोल्यो, “देख, असो मत कर्‍हे. क्युकि मी तरो अरु तरो भैइय भविष्यव्दक्ताहोन, अरु या किताब कि बात माननवाला, संग सेवक हय. परमेश्वर ही खे दण्डवत कर.” 10 फिर वोने मरासे बोल्यो, “या किताब कि भविष्यवाणी कि बात मोगम मत कर्‍हे. क्युकि टेम नजीक हइ. 11 जो अन्याय करस हइ उ अन्याय ही करतो र्‍हियो. अरु जो मीलनो हइ, व्हा मीलनो र्‍हिये. अरु जो धर्मी हइ व्हा मीलनो बन्यो र्‍हिये. अरु जो धर्मी बन्यो र्‍हियो. अरु जो पवित्र हइ.व्हा पवित्र बन्यो र्‍हिये.”
12 यीशु ने बोल्यो, “देख मी” झल्दी. आनवालो हय. “अरु हर” एक को काम का जसो बदलो देन का वासते प्रतीफल मरा पास हइ. 13 मी अल्फा अरु ओनेगा पयलो अरु आखरी, पयलो अरु खत्म हुयो.
14 धन्य वे हइ का जो अपना कपडा धोय लेस हइ, क्युकि वोखे जिवन को झाड का पास आन नको अधिकार मील्हे का अरु वे फाटक से हुय खे नगर मे घुसी गो. 15 पर कुत्तो, अरु टोन्नो, अरु व्यभिचारी, अरु हत्यारो अरु मूर्तिपूजक अरु हर एक झूठ खे प्रेम करस आलो अरु गाडनआलो बाहेर र्‍हिगो.
16 “मी यीशु ने अपनो स्वर्गदूत खे येका वासते भेज्यो कि तुम्हारा आगे मंडलीहोन का बारे मे या बात कि गवइ देस मी दाउद को किमती अरु कुल,अरु फजर को चमकते हुयो तारो हय.”
17 आत्मा अरु दुलीन दो बोलस हइ, “आ” अरु सुनन आलो भी बोल्ह्ये का “आ” जो
प्यासो हुये व्हा आयो,
अरु जो कोय चाह्ये व्हा जिवन को पाणि सेत मेत ली.
समापन
18 मी हर एक खे, जो या किताब की भविष्यवाणी की बात सुनतो हइ,गवइ देतो हय अगर कोय इन्सान या बात मे कुछ बडह्ये ते परमेश्वर वे विपत्तिहोन खे,जो या किताब मी लिखी हइ, वोका पर बडाह्ये. 19 अगर कोय या भविष्यवाणी कि किताब मे से कुछ नीकली दिह्येका ते परमेश्वर वा जिवन को झाड अरु पवित्र नगर मे से, जेको वर्णन या किताब मे हइ, वोको भाग नी काली दिह्ये.
20 जो या बात कि गवइ देस हइ व्हा यो बोलस हइ,
“हा, मी झल्दी आनवालो हय.” आमीन. हे प्रभु यीशु आ!
21 प्रभु यीशु को अनुग्रह परमेश्वर का दुन्याहोन का सात र्‍हिये, आमीन.