भजन-संहिता 143
दाऊद के एक भजन।
1 हे यहोवा, मोर पराथना ला सुन,
दया के मोर गोहार ला सुन;
अपन बिसवासयोग्यता अऊ धरमीपन के कारन
मोर मदद करे बर आ।
2 अपन सेवक ला नियाय के आघू म झन लान,
काबरकि कोनो जीयत मनखे तोर आघू म धरमी नो हय।
3 बईरी ह मोर पीछा करथे,
ओह मोला कुचरके माटी म मिला देथे;
बहुंत पहिले मरे मनखेमन सहीं
ओह मोला अंधियार म डार देथे।
4 एकरसेति मोर आतमा ह भीतरे-भीतर बियाकुल होवत हे,
मोर मन ह भीतरे-भीतर भयभीत हवय।
5 मेंह बहुंत पहिले के दिनमन ला सुरता करथंव;
मेंह तोर जम्मो काम ऊपर मनन-चिंतन करथंव
अऊ जऊन कुछू तेंह करे हस, ओकर ऊपर बिचार करथंव।
6 मेंह तोर कोति अपन हांथ बढ़ावत हंव;
मेंह सूखा भुइयां सहीं तोर बर पीयासन हंव।
7 हे यहोवा, मोला जल्दी जबाब दे;
मोर आतमा ह दुरबल होवत हे।
अपन चेहरा ला मोर ले झन छिपा
नइं तो मेंह ओमन सहीं हो जाहूं, जऊन मन खाल्हे कबर म चले जाथें।
8 बिहनियां ह मोर बर तोर अटूट मया के खबर लानय,
काबरकि मेंह तोर ऊपर भरोसा करे हवंव।
मोला ओ डहार देखा, जेमा मोला चलना चाही,
काबरकि मेंह अपन जिनगी तोला सऊंपत हंव।
9 हे यहोवा, मोला मोर बईरीमन ले बचा,
काबरकि मेंह अपनआप ला तोर आड़ म छुपावत हंव।
10 तोर ईछा ला पूरा करे के बात मोला सिखा,
काबरकि तेंह मोर परमेसर अस;
तोर बने आतमा ह
मोला समतल भुइयां म ले चलय।
11 हे यहोवा, अपन नांव के हित म, मोर जिनगी ला बनाय रख;
अपन धरमीपन के कारन, मोला समस्या ले बाहिर निकाल।
12 अपन अटूट मया के कारन, मोर बईरीमन के मुहूं ला बंद कर दे;
मोर जम्मो बिरोधीमन ला नास कर दे,
काबरकि मेंह तोर सेवक अंव।